इतिहास

Raja Shankar Shah Kuvar Raghunath Shah

1857 की क्रांति के गौंड साम्राज्य के महानायक राजा शंकर शाह, कुंवर रघुनाथ शाह की बलिदान गाथा

हर वर्ष 18 सितम्बर को गौंड राजवंश के महानायक,1857 की क्रांति में अहम् भूमिका अदा करने वाले राजा शंकर शाह और कुंवर रघुनाथ शाह के बलिदान दिवस के रूप में पूजा जाता है।

1857 की क्रांति के गौंड साम्राज्य के महानायक राजा शंकर शाह, कुंवर रघुनाथ शाह की बलिदान गाथा Read More »

veer yodha raghunath shah

राजा शंकर शाह से जुडी इतिहासिक जानकारियां

गौंड राजा सुमेर शाह की रानी ने 1789 में शंकर शाह को जन्म दिया। उस समय राजा सुमेर सिंह को मराठों ने बंदी बनाकर सागर के किले में कैद कर रखा था। रानी बेटे शंकर शाह को साथ लेकर राजधानी गढ़ा पुरवा में आकर रहने लगी थीं।राजा शंकर शाह जंगल में बांस को छीलकर नुकीले

राजा शंकर शाह से जुडी इतिहासिक जानकारियां Read More »

Mahatma Gandi

गाँधी जी के अनुसार हिंसा पशुबल है, और अहिंसा आत्मबल

गाँधी जी के अनुसार मनुष्य में जहां एक ओर पशुबल है, वहीं दूसरी ओर में आत्मबल भी है। पशुबल मनुष्य की हिंसात्मक वृत्ति की ओर संकेत करता है, जो मानव सत्ता का आधार है। गाँधी जी कहते हैं, कि हम सब मौलिक रूप से कदाचित् पशु थे, किन्तु विकास प्रक्रिया में मनुष्य बन गए हैं।

गाँधी जी के अनुसार हिंसा पशुबल है, और अहिंसा आत्मबल Read More »

Mahatma Gandhi ji

महात्मा गांधी के अनुसार सत्य एवं ईश्वर की अवधारणा

सत् के वास्तविक अर्थ को समझने के लिये इसके शाब्दिक स्वरूप को समझना आवश्यक है। सत् को अंग्रेजी में राईट (Right) कहा जाता है। जिसकी व्युतपप्ति लेटिन के रेक्टस (Rectus) शब्द से हुई है। ऐक्टस शब्द का अर्थ है नियमानुसार इस प्रकार सत् शब्द का शब्दार्थ हुआ नियमानुसार शब्दिक अर्थ के आधार पर हम सत्

महात्मा गांधी के अनुसार सत्य एवं ईश्वर की अवधारणा Read More »

Bapoo Gandhi

महात्मा गांधी

महात्मा गांधी पैगम्बर भी थे और राजनीतिज्ञ भी उन्होंने राजनीति को धर्म से कभी अलग नहीं माना और सत्य, अहिंसा तथा सत्याग्रह के साधनों से भारत के राष्ट्रीय स्वाधीनता संग्राम का संचालन किया। ब्रिटिश राज्य के विरुद्ध उनके रोषपूर्ण विद्रोह में भी उनकी गहरी नैतिक भावना ही निहित थी. उनके नेतृत्व में राष्ट्र एक विराट

महात्मा गांधी Read More »

veerangna Rani Durgawati

महान गौंड राज्य की महारानी वीरांगना रानी दुर्गावती | Gound Samrgni Vreeyangna Rani DurgaVati Jabalpur

Rani DurgaVati Jabalpur : मुग़ल सम्राट अकबर की सेना में जिसने खौफ और डर पैदा कर रखा था, साथ ही बुंदेलखंड के राजाओं का विस्तार वादी सेना को कभी गौंड राज्य की सीमा में घुसने ही नहीं दिया वो गौंड महारानी वीरांगना रानी दुर्गावती थी जिनकी सेना में अफगान लडके भी तैनात थे गौंड राज्य

महान गौंड राज्य की महारानी वीरांगना रानी दुर्गावती | Gound Samrgni Vreeyangna Rani DurgaVati Jabalpur Read More »

tantaya Bheel

भारत का राबिन हुड टंटया भील Tantya Bhil

भारत के राबिन हुड कहे जाने बाले टंटया भील का जन्म मध्यप्रदेश के वर्तमान जिले खंडवा की तहसील पंधाना के बडदा ग्राम में 1842 में हुआ था टंटया भील के पिता का नाम भाऊ सिंह था इनका वास्तविक नाम तांतिया था क्यूंकि यह वचपन में बिल्कुल पतले थे जिस कारण से इन्हें टंटया कहकर बुलाने

भारत का राबिन हुड टंटया भील Tantya Bhil Read More »

Birsha Munda

भारत की आजादी के इतिहास के पन्नों से गुम आदिवासियों का योगदान भागवान विरसा मुंडा (Birsa Munda)

भारत की इतिहास की आजादी में लेख कौन है आदिवासियों के साथ ऐसी बेईमानी की कि उनके एक योगदान के लिए एक लाइन तक नहीं लिख  सके।  आजादी के साथ में वह महान वीर नायक जिस का योगदान आदिवासी इतिहास के लिए नहीं अपितु पूरे भारतवर्ष के लिए भी महान था बहुत ही कम उम्र

भारत की आजादी के इतिहास के पन्नों से गुम आदिवासियों का योगदान भागवान विरसा मुंडा (Birsa Munda) Read More »

Thakur Kundan Singh Narayanpur

Thakur Kundan Singh : ठाकुर कुन्दन सिंह अमर शहीद वीर

राजा साहब ठाकुर कुन्दन सिंह और अमर शहीद लक्ष्मण सिंह : नारायणपुर स्टेट( बघराजी कुंडम जबलपुर का इतिहास) सन् 1857 की क्रांति, मदर या प्रथम स्वतंत्रता संग्राम के नाम से मशहूर है। जिसमें हिन्दुस्तान के अधिकांश राजा रजवाड़े ने अंग्रेजों के खिलाफ विद्रोह कर विदेशी शासन का खात्मा करने के लिए अंग्रेजों को हलाकान कर

Thakur Kundan Singh : ठाकुर कुन्दन सिंह अमर शहीद वीर Read More »

Mahatma Ayankali

सामाजिक भेदभाव के प्रति समता की आवाज उठाने वाले महात्मा अय्यंकाली

सामाजिक भेदभाव के प्रति समता की आवाज उठाने वाले संत महात्मा अय्यंकाली जिनका संदेश था कठिन से कठिन परिस्थितियों में प्रयास से सामाजिक परिवर्तन संभव है। महात्मा अय्यंकाली दक्षिणी त्रावणकोर राज्य, जो आज समय में केरल का दक्षिण भाग है। आज से करीब 125 वर्ष पहले की बात है। उस समय यह राज्य छुआ-छूत (अस्पृश्यता)

सामाजिक भेदभाव के प्रति समता की आवाज उठाने वाले महात्मा अय्यंकाली Read More »